शीर्षासन कैसे करे और उसके फायदे
Shirshasana Kaise Kare Aur Uske Fayde शीर्षासन थोड़ा कठिन है लेकिन यदि आप चेहरे को लम्बे समय तक चमकदार और स्वस्थ बनाये रखना चाहते हैं तो यह बहुत कारगर है। चूँकि आप अपने सिर पर खड़े होते हैं इसलिये रक्त संचार नीचे की तरफ होने लगता है और चेहरे की तरफ रक्त संचार बेहतर होता है। योग में शीर्षासन के कई लाभ गिनाए गए हैं। यह योग शरीर को कई बीमारियों से दूर रखता है। सिर के बल उल्टा हो जाने को शीर्षासन कहा जाता है। इसमें सिर या हाथों के बल अलग-अलग कोणों में शरीर को उल्टा किया जा सकता है। पूरे शरीर का संतुलन सिर या हाथों पर टिका होता है।
योगासन कोई भी हो लेकिन उसके कोई ना कोई फायदे ज़रूर होते है। शीर्षासन भी एक ऐसा ही आसन है जो सर के बाल किया जाता है शीर्षासन को योगासनो मे सबसे अच्छा माना जाता है। शीर्षासन को व्रक्सासना भी कहते है और कपालसन भी कहते है। शीर्षासन के कई लाभ है इसलिए इसे बहूत ही उपयोगी माना जाता है। यह आसन सर्वदा प्रातःकाल सूर्य उदय होने से पूर्व और सायंकाल अस्त होने के पश्चात् करना उचित है। Shirshasana Kaise Kare Aur Uske Fayde
इस आसन में सबसे पहले कम से कम तीन बातों का होना परम आवश्यक है जैसे- स्थान साफ सुथरा, हवादार और चौरस हो, दूसरे किसी वस्तु का सहारा जैसे दिवाल या मनुष्य की सहायता तीसरी के नीचे को गुदगुदी वस्तु अथवा तकिया या कोई मुलायम वस्तु, जिससे सिर में दर्द व कष्ट न हो। शीर्षासन जैसे की नाम से ही वीदित है यह सर के बल किया जाने वाला आसन है हालाँकि शीर्षासन को करने के लिए बहूत अभ्याश की ज़रूरत है क्यूंकी यह आसान को करना हर किसी के बस की बात नही है। यदि कोई शीर्षासन करना सिख जाए तो वह व्यक्ति कई गंभीर बीमारियों से आराम से लड़ सकता है। Shirshasana Kaise Kare Aur Uske Fayde शीर्षासन को ताड़ासन के विपरीत माना जाता है। लेकिन यह जानना भी ज़रूरी है की आख़िर शीर्षासन क्या है। इसके क्या क्या लाभ है। शीर्षासन कैसे किया जाता है। किन लोगों को शीर्षासना नही करना चाहिए।
शीर्षासन कैसे करे (How To Do Shirshasana In Hindi)
• शीर्षासन के लिए सबसे पहले आपको वज्रासन में बैठना चाहिए। आप इस तरह से बैठें की आगे की ओर झुकने के लिए आपके पास भरपूर जगह हो।
• वज्रासन में बैठकर आप दोनों कोहनियों को जमीन पर टिकाकर दोनों हाथों की अंगुलियों को आपस में मिला लें।
• Shirshasana Kaise Kare Aur Uske Fayde दोनों हाथों की अंगुलियों को मिलाकर आपकी हथेलियां ऊपर की ओर होनी चाहिए जिससे आप अपने सिर को हथेलियों का सहारा दे सकें।
• धीरे-धीरे आगे की ओर झुकते हए अपने सिर को हथेलियों पर रखें और सांस सामान्य रखें। फिर धीरे-धीरे अपने सिर पर शरीर का भार आने दें।
• इस स्थिति में आकर आपको अपने पैरों को आसमान की ओर उठाना है ठीक इस तरह से जैसे आप सीधें पैरों के बल खड़े होते हैं वैसे ही आप उल्टा सिर के बल खड़े हैं।
• कुछ देर इसी स्थिती में रहें और फिर सामान्य स्थिति में वापस आ जाएं।Shirshasana Kaise Kare Aur Uske Fayde.
• आसन प्रति दिन केवल दो ही बार सुबह और शाम करना चाहिए। पहले पाँच दिन केवल दो मिनट तक आसन करें। फिर धीरे-धीरे समय इच्छानुसार बढ़ाते जायं, अधिक से अधिक 1 घण्टा अभ्यास करें लेकिन साधारणतः आधा घण्टा करना काफी है। आसन करते समय आपको श्वांस नाक के जरिये लेनी चाहिए। जब अधिक अनुभव और अभ्यास हो जाय, तब श्वांस को धीरे-धीरे निकालो, इसी प्रकार करना चाहिये।
• यह आसन सिर के बल किया जाता है इसलिए इसे शीर्षासन कहते हैं।
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शीर्षासन के फायदे (Shirshasana Benefits In Hindi)
• इस आसन के अभ्यास से नेत्र-दोष, बालों का झड़ना और सफेद होना, रक्त-विकार इत्यादि रोग ठीक हो जाते हैं।
• यह आसन नज़ला और जुकाम मे अत्यन्त लाभदायक है।
• इस आसन के अभ्यास से मस्तिष्क संबंधी अधिकांश रोगोँ ठीक हो जाते हैं।
• इससे पाचनतंत्र को लाभ मिलता है। इससे मस्तिष्क का रक्त संचार बढ़ता है, जिससे की स्मरण शक्ति पुष्ट होती है। हिस्टिरिया एवं अंडकोष वृद्धि, हर्निया, कब्ज आदि रोगों को दूर करता है। असमय बालों का झड़ना एवं सफेद होना दूर करता है।
• शीर्षासन से रक्त का प्रवाह ठीक होता है, मस्तिष्क में रक्त प्रवाह बढ़ने से दिमाग सक्रिय होता है, ग्रंथियों की कार्य प्रणाली दुरूस्त होती है, पेट में स्थित अंगों जैसे आमाशय, लिवर, किडनी आदि एक्टिव होते हैं और पाचन तंत्र ठीक रहता है।
• भूख लगातार बढ़ती जाती है खून का दौरा बराबर ठीक होता है। खून शुद्ध बनने लगता है। हृदय प्रसन्न रहता है।
• मानसिक शक्ति बढ़ जाती है। कठिन से कठिन कार्य करने में दिल नहीं घबड़ायेगा। नेत्रों की ज्योति बढ़ जाती है। चश्मा लगाने की आवश्यकता न पड़ेगी। Shirshasana Kaise Kare Aur Uske Fayde
• ब्लड सर्कुलेशन ठीक होता है, मस्तिष्क में ब्लड सर्कुलेशन बढ़ने से दिमाग सक्रिय होता है, ग्रंथियों की कार्य प्रणाली दुरूस्त होती है, पेट में स्थित अंगों जैसे आमाशय, लिवर, किडनी आदि एक्टिव होते हैं।
• बालों संबंधी समस्याओं, बालों के झड़ने की समस्या हो या फिर समय से पहले बाल सफेद होने की समस्या इनसे निजात पाने के लिए शीर्षासन करना चाहिए।
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सावधानियाँ
• Shirshasana Kaise Kare Aur Uske Fayde पहली बार शीर्षासन किसी योग विशेषज्ञ की देखरेख में ही करना चाहिए।
• वो लोग जिन्हें ब्लड प्रेशर की शिकायत है वह इस आसन को ना करें। अगर आंखों की कोई बीमारी है तो भी इसे नहीं करना चाहिये। साथ ही वे लोग जिन्हें गर्दन में दर्द या कोई अन्य समस्या है, उन्हें भी यह आसन नहीं करना चाहिये।
• सिर को भूमि से टिकाते समय ध्यान रखें की अच्छी तरह सिर का वह भाग ही टिका है, जिससे गर्दन और रीढ़ की हड्डी सीधी रह सकें।
• पैरों को झटके से ऊपर ना उठाएँ। अभ्यास से यह स्वतः ऊपर उठने लगता है। पुन: सामान्य स्थिति में आने के लिए झटके से पैरों को भूमि पर न रखें तथा सिर एकदम से उपर न उठाएँ। Shirshasana Kaise Kare Aur Uske Fayde.
• पैरों को क्रमश: ही भूमि पर रखें और सिर को हाथों के पंजों के बीच में कुछ देरी तक रखने के बाद ही वज्रासन में आएँ। जिन्हें सिर, मेरुदंड, पेट आदि में कोई शिकायत हो वह यह आसन कतई न करें।
• यदि आपको सर्वाइकल की समस्या है या फिर गर्दन में दर्द की समस्या है तो आपको शीर्षासन नहीं करना चाहिए। Shirshasana Kaise Kare Aur Uske Fayde.
• जिन लोगों को कम दिखाई देता है या फिर आंखों संबंधी कोई और समस्या हैं तो उन्हें शीर्षासन नहीं करना चाहिए।
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